देवताओ का 1 वर्ष (दिव्य वर्ष) क्या होता है ?
ब्रह्मा जी, ब्रह्माण्ड और युगो की आयु समझने से पहले हम देवताओ के 1 दिन (एक दिव्य दिवस) और 1 वर्ष (एक दिव्य वर्ष) को समझते हैं।
- 1 मानव वर्ष देवताओ के 1 दिन के बराबर होता है।
- 30 मानव वर्ष देवताओ के 30 दिन अर्थात 1 दिव्य महीने के बराबर होते हैं।
- 360 मानव वर्ष देवताओ के 12 दिव्य महीने अर्थात 1 दिव्य वर्ष के बराबर होते है।
मानव वर्ष | दिव्य दिवस/वर्ष |
1 मानव वर्ष | = 1 दिव्य दिवस |
30 मानव वर्ष | = 30 दिव्य दिवस = 1 दिव्य महीना |
360 मानव वर्ष | = 12 दिव्य महीने = 1 दिव्य वर्ष |
कुछ अन्य इकाइयां
- पित्रो का 1 दिन हमारे 30 दिन के बराबर, उनके 30 दिन हमारे 2.5 वर्ष के बराबर और उनका 1 वर्ष हमारे 30 वर्ष के बराबर होता है। सामान्यतः हम पित्रो की आयु 100 वर्ष की मानते हैं।
- मनु का 1 दिन हमारे 8520 वर्ष के बराबर, उनके 30 दिन हमारे 255600 वर्ष के बराबर और उनका 1 वर्ष हमारे 3067200 वर्ष के बराबर होता है। मनु की आयु 100 वर्ष होती है जो की हमारे 306720000 वर्ष (71 चतुर्युग ) के बराबर होती है।
हम आगे की सारी गणना मानव वर्ष एवं दिव्य वर्ष, दोनों में करेंगे।
महायुग या चतुर्युग की आयु
हम सबसे पहले हमारे युग कलयुग से ही शुरुआत करते है।
- कलयुग की आयु 4,32,000 मानव वर्ष है।
- कलयुग से दुगुनी उम्र द्वापरयुग की, तिगुनी उम्र त्रेतायुग की और चौगुनी उम्र सतयुग की है।
- चारो युगो का कुल समय 43,20,000 मानव वर्ष होता है जिसे महायुग या चतुर्युग कहते है।
मन्वन्तर क्या होता है ?
- 71 महायुग को मिला कर 1 मन्वन्तर (संधि विच्छेद = मनु+अन्तर) बनता है।
- मन्वन्तर का अर्थ होता है ‘मनु की आयु’।
- प्रत्येक मन्वंतर के एक मनु होते है जो की विश्व की और विश्व के सभी प्राणियों की उत्पत्ति करते हैं, जो कि उनकी आयु की अवधि तक अस्तित्व में रहती है।
- प्रत्येक मन्वंतर के अलग-अलग सप्तर्षि, इद्रं तथा इंद्राणी आदि भी होते है ।
कल्प क्या होता है ?
- हर मन्वन्तर के बाद 1 संधि – काल होता है जो की सतयुग के बराबर होता है। इस संधि काल में प्रलय होने के कारन पूर्ण पृथ्वी जलमग्न हो जाती है।
- सृष्टि की शुरुआत में भी 1 संधि काल होता है जिसे आदि संधि कहते है।
- ब्रह्मा जी के 1/2 दिन में 1 आदि संधि , 14 मन्वन्तर (994 चतुर्युग) और 14 संधि काल होते है।
- जितना बड़ा ब्रह्मा जी का दिन होता है उतनी ही बड़ी उनकी रात भी होती है।
- ब्रह्मा जी की रात्रि के समय उनकी बनाई हुई कोई भी सृष्टि अस्तित्व में नहीं होती है। ब्रह्मा जी के अगले दिन से 1 नई सृष्टि अर्थात 1 नए ब्रह्माण्ड की शुरुआत होती है। यह सब एक अंतहीन प्रक्रिया या चक्र में होता रहता है।
- ब्रह्मा जी के 1/2 दिन को कल्प कहते हैं।
- कल्प ही 1 ब्रह्माण्ड की पूर्ण आयु होती है।
- इस समय श्वेत वराह कल्प चल रहा है।
- शास्त्रों और पुराणों में 4 अन्य कल्पो का उल्लेख भी मिलता है जिनके नाम इस प्रकार है:
- हमत् कल्प
- हिरण्य गर्भ कल्प
- ब्राह्म कल्प
- पाद्म कल्प
श्वेतवराह कल्प के मनु और सप्तऋषि
मन्वन्तर | मनु | सप्तर्षि | भविष्य के मन्वन्तर | भविष्य के मनु | सप्तर्षि |
प्रथम | स्वायम्भु मनु | मरीचि, अत्रि, अंगिरस, पुलह, कृतु, पुलस्त्य और वशिष्ठ | अष्टम | सावर्णि मनु | ज्ञात नहीं |
द्वितीय | स्वरोचिष मनु | उर्जा, स्तम्भ, प्राण, दत्तोली, ऋषभ, निश्चर एवं अर्वरिवत | नवम | दक्ष सावर्णि मनु | ज्ञात नहीं |
तृतीय | औत्तमी मनु | वशिष्ठ के पुत्र: कौकुनिधि, कुरुनधि, दलय, सांख, प्रवाहित, मित एवं सम्मित | दशम | ब्रह्म सावर्णि मनु | ज्ञात नहीं |
चतुर्थ | तामस मनु | ज्योतिर्धाम, पृथु, काव्य, चैत्र, अग्नि, वानक एवं पिवर | एकादश | धर्म सावर्णि मनु | ज्ञात नहीं |
पंचम | रैवत मनु | हिरण्योर्मा, वेदश्री, ऊर्द्धबाहु, वेदबाहु, सुधामन, पर्जन्य एवं महानुनि | द्वादश | रुद्र सावर्णि मनु | ज्ञात नहीं |
षष्टम | चाक्षुष मनु | सुमेधस, हविश्मत, उत्तम, मधु, अभिनमन एवं सहिष्णु | त्रयोदश | रौच्य या देव सावर्णि मनु | ज्ञात नहीं |
वर्तमान सप्तम | वैवस्वत मनु | कश्यप, अत्रि, वशिष्ठ, विश्वामित्र, गौतम, जमदग्नि, भरद्वाज | चतुर्दश | भौत या इन्द्र सावर्णि मनु | ज्ञात नहीं |
ब्रह्मा जी की आयु
- ब्रह्मा जी की कुल आयु 100 वर्ष है। हर वर्ष में 12 महीने होते है , हर महीने में 30 दिन होते है।
- अभी तक ब्रह्मा जी अपनी आयु के 50 वर्ष पुरे कर चुके हैं।
- इस प्रकार ब्रह्मा के आज तक 50 वर्ष व्यतीत हो चुके हैं, 51वें वर्ष का प्रथम कल्प अर्थात् श्वेतवाराह कल्प प्रारंभ हुआ है।
- श्वेतवाराह कल्प का सातवा मन्वन्तर चल रहा है।
- इस सातवे मन्वन्तर के मनु का नाम ‘वैवस्वत मनु’ है।
- वैवस्वत मन्वन्तर के 27 चतुर्युग बीत चुके हैं, 28 व चतुर्युग चल रहा है।
- 28 वे चतुर्युग के भी तीन युग समाप्त हो गए हैं, चौथा युग अर्थात् कलियुग चल रहा है।
- कलयुग का प्रथम चरण अर्थात 5125 कली सम्वत (AD 2023 में) चल रहा है।
- 1 परार्ध ब्रह्मा जी के 50 वर्ष के बराबर होता है । अभी द्वितीय परार्ध चल रहा है।
समस्त युगो, ब्रह्माण्ड और ब्रह्मा जी की आयु के लिए नीचे देखे:
युग | आयु (मानव वर्ष में) | आयु (दिव्य वर्ष में) |
कलयुग | = 4,32,000 मानव वर्ष | = 1,200 दिव्य वर्ष |
द्वापरयुग | = 8,64,000 मानव वर्ष (कलयुग x 2) | = 2,400 दिव्य वर्ष |
त्रेतायुग | = 12,96,000 मानव वर्ष (कलयुग x 3) | = 3,600 दिव्य वर्ष |
सतयुग | = 17,28,000 मानव वर्ष (कलयुग x 3) | = 4,800 दिव्य वर्ष |
महायुग या चतुर्युग | = 43,20,000 मानव वर्ष (चारो युगो का जोड़) | = 12,000 दिव्य वर्ष = 4 युग = 1 महायुग (दिव्य युग भी कहते हैं) |
मन्वन्तर | = 71 महायुग x 43,20,000 = 30,67,20,000 मानव वर्ष | = 8,52,000 दिव्य वर्ष (= 71 महायुग x 12,000) |
कल्प / ब्रह्माण्ड (पूर्ण आयु) | = 1 आदि संधि + 14 मन्वन्तर (994 चतुर्युग) + 14 संधि काल
= 17,28,000 + 14 x 30,67,20,000 + 14 x 1728000 = 4,32,00,00,000 मानव वर्ष |
= 1 आदि संधि + 14 मन्वन्तर (994 चतुर्युग) + 14 संधि काल
= 4,800 + 14 x 8,52,000 + 14 x 4,800 = 1,20,00,000 दिव्य वर्ष |
ब्रह्माण्ड (आयु अभी तक) | = 1 आदि संधि + 6 मन्वन्तर + 6 संधि काल
+ 27 चतुर्युग + सतयुग + त्रेतायुग + द्वापरयुग + कलयुग में बीत चुका अब तक का समय = 17,28,000 + 6 x 30,67,20,000 + 6 x 1728000 + 27 x 43,20,000 + 17,28,000 + 12,96,000 + 8,64,000 + 5,125 = 1,97,29,49,125 मानव वर्ष (अभी ब्रह्माण्ड की आयु के 2,34,70,50,875 मानव वर्ष शेष हैं।) |
= 1 आदि संधि + 6 मन्वन्तर + 6 संधि काल
+ 27 चतुर्युग + सतयुग + त्रेतायुग + द्वापरयुग + कलयुग में बीत चुका अब तक का समय = 4,800 + 6 x 8,52,000 + 6 x 4,800 + 27 x 12,000 + 4,800 + 3,600 + 2,400 + 14.236 = 54,80,414.236 दिव्य वर्ष (अभी ब्रह्माण्ड की आयु के 65,19,585.764 दिव्य वर्ष शेष हैं।) |
ब्रह्मा जी का 1 दिन | = 2 x कल्प = 2 x 4,32,00,00,000
= 8,64,00,00,000 मानव वर्ष |
= 2 x कल्प = 2 x 1,20,00,000
= 2,40,00,000 दिव्य वर्ष |
ब्रह्मा जी (पूर्ण आयु) | = 100 वर्ष = 100 x 12 महीने x 30 दिन = 36,000 ब्रह्मा जी के दिन
= 36,000 x 8,64,00,00,000 मानव वर्ष = 31,10,40,00,00,00,000 मानव वर्ष |
= 100 वर्ष = 100 x 12 महीने x 30 दिन = 36,000 ब्रह्मा जी के दिन
= 36,000 x 2,40,00,000 दिव्य वर्ष = 8,64,00,00,00,000 दिव्य वर्ष |
ब्रह्मा जी (आयु अभी तक) | = 50 वर्ष + ब्रह्माण्ड (आयु अभी तक)
= (50 वर्ष = 100 x 12 महीने x 30 दिन) ब्रह्मा जी के दिन + 1,97,29,49,125 मानव वर्ष = 18,000 ब्रह्मा जी के दिन + 1,97,29,49,125 मानव वर्ष = 15,55,20,00,00,00,000 मानव वर्ष + 1,97,29,49,125 मानव वर्ष = 15,55,21,97,29,49,125 मानव वर्ष |
= 50 वर्ष + ब्रह्माण्ड (आयु अभी तक)
= (50 वर्ष = 100 x 12 महीने x 30 दिन) ब्रह्मा जी के दिन + 54,80,414.236 दिव्य वर्ष = 18,000 ब्रह्मा जी के दिन + 54,80,414.236 दिव्य वर्ष = 4,32,00,00,00,000 दिव्य वर्ष + 54,80,414.236 दिव्य वर्ष = 4,32,00,54,80,414.236 दिव्य वर्ष |